संसद में प्रश्नकाल क्या हैं ?
प्रश्नकाल 11 बजे से 12 बजे तक होता है तथा इसमें सांसद मंत्रियों से प्रश्न पूछ सकते हैं। सांसद के द्वारा लोक सभा सचिवालय को प्रश्नों की सूची दी जाती है और सचिवालय इसे संबंधित मंत्रालय को संप्रेषित करता है। संघ सरकार के 50 से ज्यादा मंत्रालयों को 5 श्रेणी में विभाजित किया जाता है और सदन में अलग-अलग दिन अलग-अलग मंत्रालयों के उत्तर के लिए निर्धारित किए जाते हैं। मंत्रियों से सरकारी प्रशासन एवं नीतियों के संबंध में लोक सभा एवं राज्य सभा दोनों सदनों में प्रश्न पूछे जाते हैं। लोक सभा में एक दिन 20 मौखिक प्रश्न तथा 230 लिखित प्रश्न पूछे जा सकते हैं। राज्य सभा में 15 मौखिक प्रश्न तथा 155 लिखित प्रश्न पूछा जा सकता है। सदन में दो प्रकार के प्रश्न पूछे जा सकते हैं प्रथम, तारांकित प्रश्न एवं द्वितीय, अतारांकित प्रश्न | जिसे हिंदी या अंग्रेजी में पूछा जा सकता है तथा ऐसे प्रश्नों के उत्तर पाने के लिए 15 दिन पूर्व आवेदन देना पड़ता है।
1.तारांकित प्रश्न:- मौखिक रूप में सांसद प्रश्न पूछता है और तारांकित प्रश्नों का मौखिक जवाब मंत्री देते हैं। प्रश्नों की संख्या सीमित होती है, जो एक दिन में 20 तारांकित प्रश्न पूछे जा सकते हैं, जिनमें दो पूरक प्रश्न ( Supplementary Question) भी पूछे जा सकते हैं तथा स्पीकर की अनुमति से अन्य सदस्य भी पूरक प्रश्न पूछ सकते हैं।
2. अतारांकित प्रश्न:- इसे सांसद के द्वारा लिखित रूप में जिन्हें कम से कम 15 दिन का नोटिस देकर पूछा जाता है, जिसका लिखित जवाब दिया जाता है, जिसमें प्रश्नों की संख्या 230 प्रश्न प्रतिदिन होती है, इनमें पूरक प्रश्न नहीं पूछा जा सकता।
3. अल्पकालिक प्रश्न:- इसके अतिरिक्त संसद में अल्पसूचना प्रश्न भी पूछे जा सकते हैं, जो किसी महत्वपूर्ण सार्वजनिक विषय से संबंधित होते हैं। इसे 15 दिन से कम अवधि में पूछा जा सकता है। इसके अंतर्गत् मौखिक रूप में प्रश्न पूछे जाते हैं तथा संबंधित मंत्रालय द्वारा इसका उत्तर भी मौखिक रूप में दिया जाता है।